Top Non IT Jobs IN USA For Indian : अमेरिका में भारतीयों के लिए ये हैं टॉप नॉन आईटी जॉब्स, मिलती है एक करोड़ से ज्यादा सैलरी
Top Non IT Jobs IN USA For Indian : अमेरिका के बारे में कहा जाता है कि यह अवसरों की भूमि है। बेहतर जिंदगी की उम्मीद में दुनिया भर के लोग अमेरिका की ओर देखते हैं। किसी न किसी तरह यहां जॉब पाने की कोशिश करते हैं। आमतौर लोग मानते हैं कि अमेरिका में आईटी और रिसर्च सेक्टर (America IT and Research sector) में भी नौकरियां हैं। लेकिन यह सच नहीं है। यहां बिजनेस, कॉमर्स, हेल्थकेयर, कॉर्पोरेट मैनेजमेंट सहित सभी फील्ड में हाई पेइंग जॉब हैं।
हेल्थकेयर वर्कर : अमेरिका में डॉक्टर, नर्स और लैब टेक्नीशियन (America doctor and Nurse) की बड़ी संख्या में मांग है। रिपोर्ट्स के अनुसार हेल्थकेयर वर्कर की सालाना एवरेज सैलरी भारतीय मुद्रा में एक करोड़ 71 लाख रुपये है। इसके लिए जरूरी है संबंधित फील्ड में अच्छे कॉलेज की डिग्री और स्किल।
नर्स प्रैक्टिसनर (Nurse practitioner) : नर्स प्रैक्टिसर का काम मरीजों की जांच और देखभाल करना होता है। अमेरिका में नर्स प्रैक्टिसनर की एवरेज सैलरी भारतीय मुद्रा में सालाना 1 करोड़ 50 लाख तक है। अमेरिका में नर्स प्रैक्टिसनर बनने के लिए नर्सिंग में बैचलर डिग्री होनी चाहिए और यहां लाइसेंस लेना पड़ता है।
सोशल मीडिया प्लानर (social media planner) : अमेरिका में सोशल मीडिया प्लानर की भी काफी मांग है। सोशल मीडिया प्लानर का काम कंपनी के सोशल मीडिया चैनल के लिए कंटेंट तैयार करना और उसके लिए स्ट्रेटजी बनाना होता है। इसके लिए सालाना 91 लाख रुपये तक एवरेज सैलरी मिलती है।
एयरलाइंस : अमेरिका की एयरलाइंस इंडस्ट्री (America’s airlines industry) में भी करोड़ों की सैलरी पैकेज वाली जॉब के अवसर हैं। जिसमें पायलट, को पायलट और फ्लाइट इंजीनियर जैसी जॉब शामिल हैं। एविएशन में इंजीनियरिंग, पायलट कोर्स करने वाले यहां जॉब सर्च कर सकते हैं। अमेरिका की एयलाइंस में एवरेज सैलरी सालाना एक करोड़ 30 लाख से अधिक है।
बिजनेस एवं फाइनेंशियल मैनेजर (Business and Financial Manager in America) : अमेरिका में कॉमर्स और मैनेजमेंट बैकग्राउंड वालों के लिए भी जॉब के काफी अवसर हैं। बिजनेस एवं फाइनेंशियल मैनेजर को सालाना एवरेज सैलरी करीब एक करोड़ रुपये मिलती है।
अमेरिका में फाइनेंशियल मैनेजर बनने के लिए कम से कम फाइनेंशियल मैनेजमेंट में ग्रेजुएशन की डिग्री होनी चाहिए। साथ ही अकाउंटेंट, सिक्योरिटीज सेल्स एजेंट या फाइनेंशियल एनालिस्ट के रूप में चार से पांच साल काम का अनुभव होना चाहिए।